यूपी बोर्ड कि फर्जी खबर वायरल, प्रशासन सख्त छात्र कंफ्यूज
यूपी बोर्ड एग्जाम 18 फरवरी से शुरू होकर 16 मार्च को समाप्त हुए।
इसके बाद कापियों का मूल्यांकन शुरू तो हुआ लेकिन करोना इफेक्ट की वजह से बीच में ही रुक गया। तब से आज तक यूपी बोर्ड के छात्र परीक्षा फल का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं।
इस बीच अचानक गुरुवार को बोर्ड सचिव नीना श्रीवास्तव का एक लेटर सोशल मीडिया पर वायरल हुआ जिसमें छात्रों को बिना कॉपी चेक किए पास करने का निर्देश दिया गया था। यह लेटर पढ़ने के बाद स्टूडेंट स्कूल और अन्य परिचितों को कॉल करने लगे और उनके अभिभावक भी इधर-उधर पूछताछ करने लगे।
इसके बाद जब लेटर की सत्यता की जांच की गई तो वह फर्जी निकला ।
इसके बाद कापियों का मूल्यांकन शुरू तो हुआ लेकिन करोना इफेक्ट की वजह से बीच में ही रुक गया। तब से आज तक यूपी बोर्ड के छात्र परीक्षा फल का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं।
इस बीच अचानक गुरुवार को बोर्ड सचिव नीना श्रीवास्तव का एक लेटर सोशल मीडिया पर वायरल हुआ जिसमें छात्रों को बिना कॉपी चेक किए पास करने का निर्देश दिया गया था। यह लेटर पढ़ने के बाद स्टूडेंट स्कूल और अन्य परिचितों को कॉल करने लगे और उनके अभिभावक भी इधर-उधर पूछताछ करने लगे।
इसके बाद जब लेटर की सत्यता की जांच की गई तो वह फर्जी निकला ।
डीआईओएस ने सचिव से की बात
इतना बड़ा निर्देश देखकर डीआईओएस ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह भदौरिया के भी होश उड़ गए।
लेटर की सत्यता जांचने के लिए डीआईओएस ने बोर्ड सचिव नीना श्रीवास्तव से बात की ,नीना श्रीवास्तव ने लेटर को फेंक बताया।
हेलो ऐप से बनाया गया फेक लेटर
बोर्ड सचिव ने कहा कि किसी ने हेलो ऐप की मदद से यह लेटर तैयार किया है जो कि बिल्कुल फेक है।
प्रशासन कर सकता है कारवाई
जिन लोगो ने बिना सत्यता की जांच किए इस लेटर को सर्कुलेट किया है उनके उपर हो सकती है कारवाई।
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